दतिया जिले के किसान परम्परागत खेती के साथ अब कम लागत में अधिक उत्पादन एवं बेहतर दाम देने वाली नगदी फसले रहे है। दतिया विकासखण्ड़ के ग्राम विजयपुरकलां के कृषक श्री कल्याण सिंह कुशवाहा आत्मा परियोजना के अधिकारियों से मिले। तकनीकी सहयोग एवं मार्ग दर्शन से आज मशरूम की खेती कर रहे है। इससे इनहें अच्छी खासी आमदनी भी हो रही है। मशरूम की खेती इनके लाभ का धंधा बनी है। श्री कल्याण सिंह कुशवाह ने बताया कि आत्मा परियोजना के तहत् सात दिवस का आॅनलाईन प्रशिक्षण मश्रूम उत्पादान एवं मार्केटिंग का उन्हें प्रदाय किया गया। प्रशिक्षण उपरांत श्री कल्याण सिंह फार्मर प्रड्यूसर कंपनी (एफपीओ) गोहद की चैयरपर्सन श्रीमती बाली सिंह ने उन्हें ”बटन मशरूम” के स्पान सहित 90 पैकिट निःशुल्क प्रदाय किये। 
 श्री कल्याण सिंह इन पैकिटों के रखने हेतु अपने घर में बांस बल्ली से रैक भी तैयार की। जिस पर लगभग 5 हजार रूपये का खर्चा आया। श्री कल्याण सिंह कुशवाह ने बताया कि नवम्बर माह में प्रशिक्षण उपरांत उन्होंने मशरूम की खेती शुरू कर दी। दो माह के अंदर ही 75 किलो बटन मशरूम का उत्पादन ले चुके है। इस मशरूम का 150 रूपये से लेकर 200 रूपये प्रति किलो के नाम से 200-200 ग्राम के पैकिट बनाकर टेकनपुर ग्वालियर की सब्जी मंडी में विक्रय कर रह है। मशरूम के विक्रय से उन्हें अच्छी खासी आमदनी हो रही है। उन्होंने बताया कि टेकनपुर की सब्जी मंडी में मशरूम की बहुत मांग है। इसका उपयोग लोग अचार, सब्जी एवं सूप के रूप में करते है। बटन मशरूम प्रोटीन एवं पोषक तत्वों से भरपूर होने के कारण यह कोलोस्ट्राल फ्री होता है। 
 आत्मा परियोजना के संचालक श्री जीएस गोरख ने बताया कि आत्मा योजना के तहत् जिले में किसानों ने बटन मशरूम की खेती को किसानों ने नवाचार के रूप में लिया है। जिसके तहत् जिले के तीन ग्रामों में अलग-अलग समूहों में 30 किसान बटन मशरूम की खेती कर रहे हे। जिसमें विजयपुरकला (दतिया), बड़ेरासोपान (भाण्ड़ेर), कटीली (सेवढ़ा) शामिल है। इनका सम्पर्क सूत्र 9977033779 है।